दिल्ली ने हाल ही में भारी बारिश का सामना किया, जिससे राजधानी शहर के कई इलाके जलमग्न हो गए। इस स्थिति को देखते हुए भारतीय मौसम विज्ञान विभाग (आईएमडी) ने 'रेड' अलर्ट जारी किया है। भारी बारिश ने लुटियंस दिल्ली, कश्मीरी गेट, और राजिन्दर नगर जैसी जगहों में जलभराव कर दिया है, जिससे यातायात जाम की समस्या उत्पन्न हो गई है।
आईएमडी ने राष्ट्रीय फ्लैश फ्लड मार्गदर्शन बुलेटिन में दिल्ली को 'चिंता के क्षेत्रों' की सूची में रखा है। यह बुलेटिन आम जनता और सरकारी एजेंसियों को सतर्क करने का काम करता है ताकि वे समय रहते आवश्यक कार्रवाई कर सकें। इस स्थिति को देखते हुए आईएमडी ने लोगों को अपने घर के अंदर रहने, खिड़की दरवाजों को सुरक्षित रखने, और अनावश्यक यात्रा से बचने की सलाह दी है।
प्रगति मैदान वेधशाला ने केंद्रीय दिल्ली में एक घंटे के भीतर 112.5 मिमी बारिश दर्ज की, जिसे आईएमडी ने 'बादल फटने' के रूप में परिभाषित किया है। यह बारिश इतनी भारी थी कि कुछ ही मिनटों में अनेक जगहों पर जलभराव हो गया, जिससे निचले इलाकों में रहने वाले लोगों को काफी दिक्कतों का सामना करना पड़ा।
आईएमडी ने यह भी भविष्यवाणी की है कि अगले दो घंटों में दिल्ली भर में व्यापक हल्की से मध्यम वर्षा हो सकती है, साथ ही 50 किमी/घंटा की गति वाले तेज हवाओं के साथ गड़गड़ाहट भी हो सकती है। इस चेतावनी को देखते हुए विभिन्न सरकारी एजेंसियों और विभागों को सतर्क किया गया है ताकि समय पर आपातकालीन सेवाएं प्रदान की जा सकें।
ट्रैफिक पुलिस ने भी इस भारी बारिश और जलभराव को देखते हुए विभिन्न मार्गों के बारे में चेतावनी जारी की है। उन्होंने नागरिकों से अनुरोध किया है कि वे अपनी यात्राएं सावधानीपूर्वक योजना बनाएं और यदि संभव हो तो घर पर ही रहें। यह सलाह दी गई है कि यदि अत्यावश्यक न हो तो लोग अपने वाहनों का इस्तेमाल न करें, क्योंकि जलभराव के कारण कई सड़कों पर यातायात जाम की स्थिति बनी हुई है।
इस भारी वर्षा के कारण दिल्ली का अधिकतम तापमान 37.8 डिग्री सेल्सियस और न्यूनतम तापमान 30.4 डिग्री सेल्सियस दर्ज किया गया है। आमतौर पर मानसून के समय पर ऐसा तापमान देखा गया है, लेकिन इस बार की भारी बारिश ने तापमान पर भी असर डाला है। आईएमडी ने भविष्यवाणी की है कि यह वर्षा तीव्र होगी लेकिन अगले कुछ दिनों में स्थिर हो जाएगी। उन्होंने 5 अगस्त तक गीले मौसम की चेतावनी दी है।
गृह मंत्रालय और अन्य संबंधित एजेंसियों ने इस आने वाले संकट के लिए पहले से तैयार रहने के निर्देश जारी किए हैं। वे लगातार समस्याओं और आपात स्थितियों की निगरानी कर रहे हैं और त्वरित सहायता प्रदान करने के लिए तैयार हैं। गांव और शहरी इलाकों में लगातार पेट्रोलिंग और कड़ी निगरानी की जा रही है ताकि किसी भी आपात स्थिति से समय पर निपटा जा सके।
दिल्ली के निवासी भी इस स्थिति के लिए पूरी तरह से तैयार हो रहे हैं। वे घर के अंदर अपनी सुरक्षा सुनिश्चित कर रहे हैं और अनावश्यक यात्रा से बचने की कोशिश कर रहे हैं। इस जलभराव और ट्रैफिक जाम की स्थिति ने लोगों के दैनिक जीवन को काफी प्रभावित किया है।
दिल्ली के अस्पतालों ने भी इस स्थिति के लिए विशेष तैयारी की है। अतिरिक्त डॉक्टर और नर्सें तैनात की गई हैं और आपात सुविधाओं को मजबूत किया गया है ताकि किसी भी अप्रिय स्थिति का सामना किया जा सके।
आवश्यक सेवाओं, जैसे कि पानी, बिजली और सीवेज, की सेवाओं को भी मजबूत किया गया है ताकि नागरिकों को बिना किसी बाधा के आवश्यक सुविधाएं मिल सकें। नगर निगम और अन्य संबंधित एजेंसियां लगातार सड़कों और गटरों की सफाई कर रही हैं ताकि जलभराव की समस्या को कम किया जा सके।
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